पंचतत्व में विलीन हुआ मुजफ्फरनगर का लाल

ग्रामीणों की भीड़ तिरंगा लेकर अंतिम दर्शन को उमड़ी


मुज़फ्फरनगर। जनपद में शुक्रवार सुबह जैसे ही बीएसएफ के शहीद जवान विनोद कुमार का पार्थिव शरीर उनके पैतृक आवास पहुंचा, पूरा आकाश 'भारत माता की जय' के नारों से गुंजायमान हो उठा। एक तरफ ग्रामीणों को अपने बेटे के हमेशा के लिए उन्हें छोड़कर चले जाने का गम था तो दूसरी तरफ देश की रक्षा करते हुए कुर्बान हुए बेटे की शहादत पर गर्व भी था। बीएसएफ के शहीद जवान विनोद कुमार का पार्थिव शरीर आज दोपहर उनके पैतृक गांव मोहम्मदपुर मॉडर्न पहुंचा। शहीद के अंतिम दर्शन को ग्रामीणों की भीड़ उमड़ पड़ी। हाथों में तिरंगे लेकर बड़ी संख्या में युवा उन्हें श्रद्धांजलि देने पहुंचे। इस  दौरान 'भारत माता की जय', 'वंदे मातरम', 'शहीद विनोद अमर रहें', 'जब तक सूरज चांद रहेगा, शहीद विनोद का नाम रहेगा' जैसे नारों की गूंज हर ओर से सुनाई दे रही थी। जैसे ही शहीद के पार्थिव शरीर को अंतिम संस्कार के लिए ले जाया गया तो अंतिम यात्रा में लोगों की भीड़ उनके पीछे पीछे चलती रही।


केंद्रीय राज्य मंत्री डॉ संजीव बालियान, जिले के प्रभारी मंत्री चेतन चौहान, राज्य मंत्री कपिल देव अग्रवाल, विधायक उमेश मलिक, प्रमोद ऊंटवाल के अलावा डीएम व एसएसपी समेत तमाम अधिकारी श्रद्धांजलि देने उनके गांव पहुंचे और शहीद के अंतिम संस्कार में शामिल हुए। बुधवार रात जम्मू-कश्मीर में एक ऑपरेशन के दौरान शहीद हुए विनोद कुमार के परिवार की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं है। गांव में खेती की जमीन भी नहीं है। शहीद  के पिता प्रेम कुमार, बड़े भाई पंकज एवं संजीव कुमार के साथ हरियाणा के पानीपत की महादेव कॉलोनी में वार्ड सात में रहकर कपड़े का कारोबार करते हैं। पंकज और संजीव की शादी हो चुकी है। दो बड़ी बहनें भी शादीशुदा हैं। विनोद कुमार सबसे छोटा एवं अविवाहित था। उसके परिजनों ने बताया कि 20 जून को वह छुट्टी पर आया था और चार जुलाई को ड्यूटी पर चला गया।


बीएसएफ जवान की बुधवार शाम ही अपने बड़े भाई संजीव से बात हुई थी। फोन पर उसने परिजनों का हालचाल पूछा था। साथ ही परिवार एवं कामकाज से जुड़ी अन्य जानकारियां भी ली थी। परिजनों को यह नहीं मालूम था कि उनकी विनोद से यह आखिरी बार बात हो रही है। तयेरे भाई कुलदीप ने बताया कि अक्सर परिवार के लोगों से विनोद की बातचीत होती रहती थी। गुरुवार सुबह करीब चार बजे उनके भांजे के फोन पर बीएसएफ के अधिकारियों ने कॉल करके विनोद की शहादत की जानकारी दी।